NCERT Solutions Class 12th Physical Education Chapter – 6 खेलों में परीक्षण तथा मापन (Test and Measurement in Sports) Notes In Hindi

NCERT Solutions Class 12th Physical Education Chapter – 6 खेलों में परीक्षण तथा मापन (Test and Measurement in Sports)

TextbookNCERT
classClass – 12th
SubjectPhysical Education
ChapterChapter – 6
Chapter Name खेलों में परीक्षण तथा मापन (Test and Measurement in Sports)
CategoryClass 12th Physical Education
Medium Hindi
SourceLast Doubt

NCERT Solutions Class 12th Physical Education Chapter – 6 खेलों में परीक्षण तथा मापन (Women and Sports)

Chapter – 6

खेलों में परीक्षण तथा मापन

Notes

भूमिका (Introduction) – हर वह व्यक्ति जो जीवन के किसी भी क्षेत्र में सफल होना चाहता है उसके लिए यह जरूरी है कि वह सबसे पहले कोई उद्देश्य/लक्ष्य निर्धारित करे।

अपने उद्देश्य की प्राप्ति के प्रयास के दौरान उसे समय-समय पर अपनी सफलता या असफलता का मूल्यांकन भी करते रहना चाहिए ताकि उसे इस बात का ज्ञान रहे कि वह अपने उद्देश्य में कहाँ तक सफल हो पाया है। यही नियम उन सभी व्यक्तियों पर भी लागू होता है जो शारीरिक शिक्षा एवं खेल-कूद के कार्यक्रमों में सफल होना चाहते हैं।

किसी ने सही ही कहा हैं कि – ‘यदि आप बिना वैज्ञानिक दृष्टिकोण के अभ्यास करते हो तो आप एक ऐसे दिशाहीन जहाज के पायलट की तरह हो जिसे अपनी मंजिल तक का भी ज्ञान नहीं है।’

शारीरिक शिक्षा के क्षेत्र में छात्रों तथा खिलाड़ियों का मूल्यांकन, परीक्षण तथा मापन विधि द्वारा किया जाता है। विभिन्न प्रकार की परीक्ष तथा मापन विधियों द्वारा खिलाड़ियों की क्षमताओं, योग्यताओं तथा उनकी आवश्यकताओं के विषय में महत्त्वपूर्ण जानकारी एकत्र की जा सक है।

परीक्षण (Test) किसी खिलाड़ी से संबंधित सूचना अथवा आँकड़े एकत्र करने की ऐसी विधि होती है जिसमें किसी विशिष्ट के तकनीक या प्रक्रिया द्वारा खिलाड़ी की किसी विशेष दक्षता, सहनशक्ति, शक्ति, ज्ञान तथा व्यवहार इत्यादि के बारे में सूचना एकत्र की है। खेल संबंधी परीक्षण विधियों कई प्रकार की होती है, जैसे कि विभिन्न आयु वर्ग के स्कूली छात्रों के लिए साई (SAI) खेलों इण्डिग पुष्टि परीक्षण तथा रिकली तथा जोन्स वरिष्ठ नागरिक पुष्टि परीक्षण इत्यादि।

मापन (Measurement) किसी खिलाड़ी की शारीरिक क्षमताओं दैनिक प्रक्रिया है जिसमें विभिन्न उपकरणों तथा तकनीकों के प्रयोग द्वारा खिलाड़ी की व्यक्तिगत योग्यताओं का आकलन करके मात्रात्मक या संख्यात्मक रूप में आँकड़े प्राप्त किए जाते हैं।

परीक्षण तथा मापन विधियों द्वारा प्रशिक्षण तथा अध्यापन के प्रभावों को निर्धारित किया जा सकता है, इस दिशा में हुई प्रगति को भी जाना जा सकता है तथा भविष्य के लिए अधिक प्रभावशाली योजनाएँ एवं कार्यक्रम बनाए जा सकते हैं।

पुष्टि परीक्षण – विद्यालय में साई (SIA) खेलों इण्डिया पुष्टि परीक्षण (Fitness Test-SAI Khelo India Fitness Test in School) – किसी खिलाड़ी द्वारा उसके विशिष्ट खेल में प्रभावशाली रूप से प्रदर्शन करने की क्षमता को गामक पुष्टि कहते हैं। दूसरे शब्दों में कहें तो – किसी व्यक्ति द्वारा शारीरिक क्रियाओं या गतिविधियों को करने की योग्यता गामक पुष्टि कहलाती है। भारतीय खेल प्राधिकरण ने विद्यालय जाने वाले सभी बच्चों को दो वर्गों (5-8 वर्ष कक्षा 1-3 तथा 9-18 वर्ष कक्षा 4-12) में विभाजित कर दोनों वर्गों के छात्र-छात्राओं की पुष्टि का मूल्यांकन करने के लिए कुछ परीक्षण निर्धारित किए है जिनका विस्तृत विवरण निम्नलिखित है।

आयु वर्ग 5-8 वर्ष/कक्षा 1-3आयु वर्ग 9 – 18 वर्ष / कक्षा 4-12
बॉडी मास इंडेक्सबॉडी मास इंडेक्स50 मीटर की डैश (दौड़)
फ्लैमिंगो बैलेन्स टेस्ट600 मीटर दौड़ / पैदल चालसिट एंड रीच परीक्षण
प्लेट टेपिंग टेस्टपार्शल कर्ल अप परीक्षणपुश-अप्स (लड़के) संशोधित पुश-अप्स (लड़कियाँ)

5 – 8 वर्ष / कक्षा 1 – 3 तक के विद्यार्थियों की पुष्टि के मूल्यांकन के लिए किए जाने वाले परीक्षण (Tests for Assessment of Physical Fitness of Students from Age Group 5-8 years / Class 1 – 3) – 5-8 वर्ष/कक्षा 1-3 तक के विद्यार्थियों की पुष्टि के मूल्यांकन के लिए निम्नलिखित परीक्षण किए जाते हैं-

1. बॉडी मास इंडेक्स (Body Mass Index) – स्वस्थ भार का तात्पर्य व्यक्ति के उस भार से है, जिस पर वह बिना किसी बीमारी के भय के स्वस्थ जीवन व्यतीत कर सकता है।

बॉडी मास इंडेक्स परीक्षण के द्वारा विद्यार्थी के स्वस्थ भार /शारीरिक संरचना के मूल्यांकन के लिए शरीर में मांसपेशियों और वसा के वितरण की गणना की जाती है। इस परीक्षण विधि में व्यक्ति के शरीर के भार (कि० ग्रा० में) को उसकी ऊँचाई (मी०) से भाग कर बॉडी मास इंडेक्स की गणना की जाती है।

बॉडी मास इंडेक्स = शरीर का भार (कि० ग्रा०)/शरीर का ऊँचाई (मी०)2 अथवा भार/ऊँचाई x ऊँचाई

उपरोक्त सूत्र के आधार पर बॉडी मास की गणना का स्कोर जितना अधिक होगा व्यक्ति के शरीर में वसा की मात्रा उतनी ही अधि क होगी। राष्ट्रीय स्वास्थ्य संस्थान (National Institute of Health) के अनुसार 19 से 25 B.M.I. के बीच का भार स्वस्थ भार होता है। यदि किसी व्यक्ति का भार 25 से 29 B.M.I. तक है तो वह व्यक्ति अधिक भार की श्रेणी में आएगा और यदि भार 30 B.M.I. से अधिक होगा तो व्यक्ति मोटापे से ग्रस्त माना जाएगा।

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने बी.एम.आई. के द्वारा स्वस्थ भार मापने के लिए निम्न मान निर्धारित किए हैं- (WHO Criteria for Calculating Healthy Weight by Using B.M.I Methods)-

श्रेणी (Category)बी०एम०आई० (B.M.I.)
अल्प भार18.5 से कम
सामान्य भार18.5 – 24.9
अधिक भार25 – 29.9
मोटापा श्रेणी – I30 – 34.9
मोटापा श्रेणी – II35 – 39.9
मोटापा श्रेणी – III40 से अधिक

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : एक सपाट तथा साफ-सुधरी सतह, वजन तौलने की मशीन, ऊँचाई के लिए दीवार पर लगा स्टैंडोमीटर स्केल।

परीक्षण की विधि (Procedure):

1. शारीरिक लंबाई मापने के लिए :

  • प्रतिभागी को सबसे पहले अपने जूते, टी-शर्ट और शॉट्स के अतिरिक्त सभी कपड़े उताकर दीवार पर लगे स्टैंडोमीटर स्केल की तरफ पीठ करके एकदम सीधी अवस्था में खड़े हो जाना चाहिए। इस दौरान उसके सर पर ऐसी कोई वस्तु न हो जिसके कारण प्रतिभागी की लंबाई नापने में कोई त्रुटि हो जाए।
  • खड़ी अवस्था में प्रतिभागी के दोनों पैर एकदम सीधे और कंधे समतल और गर्दन सीधी होनी चाहिए। प्रतिभागी को दीवार के साथ इस तरह खड़ा होना चाहिए की उसका सिर, कंधे, नितंब और एड़ी दीवार को छू रही हो।
  • फिर चित्रानुसार प्रतिभागी की लंबाई को मापते है और रिकॉर्ड कर लेते है। लंबाई को निकटतम 0.1 सेंटीमीटर तक सटीक रूप से रिकॉर्ड करें।

2. शारीरिक भार मापने के लिए :

  • शारीरिक भार मापने के लिए एक डिजिटल भार मापने की मशीन को समतल सतह पर रखते है तथा प्रतिभागी को बिना जूतो के और कम-से-कम अतिरिक्त कपड़ों के बिल्कुल सीधी अवस्था में मशीन के बीचो-बीच खड़े होने के लिए कहते है।
  • जैसे ही प्रतिभागी सही अवस्था में मशीन पर खड़ा होता है तो पाँच सैकेण्ड बाद मशीन की रीडिंग को रिकॉर्ड बुक में दर्ज कर लेते है।
  • प्रतिभागी के वजन को निकटतम दशमलव अंश में रिकॉर्ड करते है उदाहरण के लिए, 25.1 किलोग्राम।

3. प्रतिभागी के शारीरिक लंबाई एव भार के आंकडे प्राप्त कर बी.एम.आई. गणना सूत्र के अनुसार गणना कर प्रतिभागी का बी.एम.आई. स्कोर निकालते है तथा उसे दी गई तालिका से मिलान करते है।

परीक्षण की विधि (Procedure) :

  • इस परीक्षण विधि में प्रतिभागी एक साफ समतल जगह पर रखे बीम पर अपने दोनों पैर जोड़कर बिल्कुल सीधी अवस्था में खड़ा होना होता है।
  • फिर परीक्षक का आदेश मिलते ही प्रतिभागी को परीक्षक का एक हाथ पकड़कर तथा अपने दूसरे हाथ से अपने एक पैर की एड़ी को पकड़े हुए धीरे से अपने नितंबों तक मोड़कर खड़ा होना होता है।
  • जैसे ही प्रतिभागी इस अवस्था में अपना संतुलन स्थापित करता है वह परीक्षक के हाथ को छोड़कर बिना सहारे के बीम पर कम-से-कम 60 सैकेण्ड तक खड़े रहने का प्रयास करता है।
  • परीक्षक का हाथ छोड़ते ही स्टॉप वॉच को स्टार्ट कर दिया जाता है और 60 सैकेण्ड के दौरान जितनी बार भी प्रतिभागी का संतुलन बिगड़ता है उतनी ही बार स्टॉप वॉच को रोक दिया जाता है।
  • यदि शुरूआती 30 सैकेण्ड के दौरान परीक्षार्थी का संतुलन 15 बार से अधिक बिगड़ता है तो परीक्षण को वहीं खत्म कर दिया जाता है।
  • 60 सैकेण्ड के दौरान परीक्षार्थी का संतुलन जितनी बार भी बिगड़ता है वहीं उसका स्कोर होता है, अर्थात् स्कोर जितना कम होगा परीक्षार्थी की संतुलन बनाए रखने की क्षमता उतनी ही बेहतर होगी।

III. प्लेट टेपिंग परीक्षण (Plate Tapping Test)

उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य प्रतिभागी के दोनों हाथों की गति तथा उनमें समन्वय का मूल्यांकन करना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : प्रतिभागी की शारीरिक लंबाई के अनुरूप समायोज्य (height ajustable) टेबल 20 सेमी. व्यास वाली 2 पीली डिस्क, 30 x 20 सेमी. का आयताकार ब्लॉक तथा स्टॉप वॉच।

परीक्षण की विधि (Procedure) :

  • प्रतिभागी की लंबाई के अनुरूप टेबल की ऊंचाई को समायोजित कर लेना चाहिए ताकि प्रतिभागी टेबल के सामने आराम से खड़ा हो सके।
  • इसके बाद आयताकार ब्लॉक को टेबल के बिल्कुल बीच में रखते है तथा दोनों पीली डिस्क को ब्लॉक के दोनों तरफ इतनी दूरी पर रखते है कि दोनों डिक्स के मध्य बिन्दुओं के बीच की दूरी 60 सेमी. हो।
  • फिर प्रतिभागी अपने दाएँ या बाएँ हाथ (जो भी हाथ कम प्रयोग किया जाता है) को आयताकार ब्लॉक पर रखता है तथा प्रशिक्षक का आदेश मिलते ही अपने दूसरे हाथ को जितना जल्दी हो सके एक डिक्स से दूसरी डिक्स तक ले जाता है और वापस आता है।
  • प्रतिभागी को यह क्रिया कम-से-कम समय में 25 बार दोहरानी होती है।
  • प्रतिभागी द्वारा 25 बार दोहराई गई क्रिया के लिए लिया गया कुल समय उसका स्कोर होता है अर्थात् स्कोर जितना कम होगा प्रतिभागी। के हाथों की गति एवं उनके बीच समन्वय उतना बेहतर माना जाता है।
9-18 वर्ष / कक्षा 4-12 तक के विद्यार्थियों की पुष्टि के मूल्यांकन के लिए किए जाने वाले परीक्षण (Tests for Assessment of Physical Fitness of Students from Age Group 9-18 years / Class 4-12) – 9-18 वर्ष कक्षा 4-12 तक के विद्यार्थियों को पुष्टि के मूल्यांकन के लिए निम्नलिखित परीक्षण किए जाते हैं-

I. बॉडी मास इंडेक्स (Body Mass Index) – (इस परीक्षण का विस्तृत विवरण इस अध्याय में पहले ही दिया जा चुका है।)

II. 50 मीटर की तीव्र गति दौड़ (50M Dash)

उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का उद्देश्य परीक्षार्थी के दौड़ने की गति तथा त्वरण का निर्धारण करना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : साफ और समतल जगह पर मार्किंग सहित 50 मीटर लेन, विराम घड़ी, स्कोर और रिकॉर्ड को बनाने के लिए पेन और पेपर।

परीक्षण की विधि (Procedure) : परीक्षार्थी 50 मीटर की दूरी पर खींची दो समानांतर रेखाएँ में से एक रेखा पर खड़ा हो जाता है और आदेश मिलते ही जितना जल्दी हो सके दूसरी रेखा को दौड़कर पार करता है। प्रारंभिक रेखा से अंतिम रेखा को पार करने में लिया गया कुल समय उसका स्कोर माना जाता है।

III. 600 मीटर दौड़/पैदल चाल (600 Mts. Run/Walk)

उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का उद्देश्य परीक्षार्थी की ऐरोबिक पुष्टि मापना होता है।

आवश्यक सामग्री (Equipments Required) : साफ और समतल जगह पर मार्किंग सहित 600 मीटर लेन, विराम घड़ी स्कोर और रिकॉर्ड को बनाने के लिए पेन और पेपर।

परीक्षण की विधि (Procedure) : इस परीक्षण विधि में निर्देश मिलते ही परीक्षार्थी को प्रारंभिक रेखा से दौड़ते हुए या चलते हुए 600 गज अंतिम रेखा को लांघना होता है। प्रारंभिक रेखा से अंतिम रेखा को पार करने में लिया गया समय उसका स्कोर माना जाता है।

IV. सिट एड रीच परीक्षण (Sit and Reach Test)
उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का उद्देश्य परीक्षार्थी की कमर के निचले भाग, कूल्हों के क्षेत्र तथा घुटने के पिछले भाग की मांसपेशियों (Hamstring Muscles) की लचक को मापना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : सिट एण्ड रीच बॉक्स या डिब्बा और स्केल, मैट।

परीक्षण की विधि (Procedure)

  • इस परीक्षण के लिए एक फुट्ट (Meter Scale) को बक्से के ऊपर इस प्रकार रखा जाता है कि फुट्टे का 6 इंच का चिह्न, डिब्बे के किनारे पर हो। फुट्टे का शून्य चिह्न परीक्षार्थी की तरफ होना चाहिए।
  • परीक्षार्थी नंगे पैर अपनी टाँगों को बिना घुटने मोड़े आगे की ओर सीधा कर इस प्रकार बैठता है कि उसके पैरों के तलवे बक्से के साथ सीधे सटकर रखे हों। फिर परीक्षार्थी जहाँ तक संभव हो सके अपने दोनों हाथों को फुट्टे पर आगे की ओर ले जाने की कोशिश करता है। हालांकि ऐसा करते समय उसे अधिक दूरी तक पहुँचने के लिए झटके के साथ नहीं झुकना चाहिए।
  • अधिकतम पहुँच की स्थिति में परीक्षार्थी को स्वयं को दो सेकंड तक रोके रखना होता है। फुट्टे पर जो दूरी प्राप्त हो उसे स्कोर के रूप में नोट कर लिया जाता है। इस परीक्षण से पहले परीक्षार्थी को वार्म अप करने की अनुमति नहीं होती है।

सिट एवं रीच परीक्षण के लाभ : यह कमर से निचले भाग की लचक को मापने की एक साधारण तथा आसान विधि है।

सिट एवं रीच परीक्षण की हानियाँ : इस परीक्षण विधि द्वारा केवल कमर से निचले भाग की लचक को ही मापा जा सकता है।

V. पार्शल कर्ल अप परीक्षण (Partial Curl Up Test)

उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य परीक्षार्थी के उदर की शक्ति एवं सहन-शक्ति (Abdominal strength and Endurance) मापना होता है। यह शक्ति मेरुदंड तथा शरीर को स्थिर रखने के लिए आवश्यक होती है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : एक साफ समतल नरम सतह, जिम मैट तथा स्टाप वॉच।

विधि (Proceduce)

  • परीक्षण की शुरुआत में परीक्षार्थी एक साफ समतल सतह पर पीठ के बल इस प्रकार लेट जाता है कि उसके पंजे नितंब से लगभग 1 फुट की दूरी पर होते है।
  • परीक्षार्थी अपने हाथों को फैलाते हुए जांघों पर रख देता है, इस दौरान उसका सिर स्थिर स्थिति में होना चाहिए।
  • फिर परीक्षार्थी नियंत्रित गति के साथ अपने शरीर के ऊपरी भाग को उठाता है ताकि उसके कंधे शरीर शरीर के ऊपरी भाग समेत जमीन से लगभग 2 इंच ऊपर की ओर उठ जाए। फिर वह विश्राम स्थिति में आ जाता है।
  • एक सम्पूर्ण पार्शल कल अप करने में लगभग 3 सेकेण्ड (1.5 सेकेण्ड ऊपर तथा 1.5 सेकेण्ड विश्राम स्थिति) का समय लगता। परीक्षार्थी यह क्रिया तब तक बिना रूके दोहराता है जब तक वह थक न जाए।
  • सही विधि के अनुरूप किए गए कुल पार्शल कर्ल अप की संख्या ही परीक्षार्थी का कुल स्कोर होता है।

लाभ (Advantage) : यह परीक्षण विधि सरल, कम समय में तथा बिना किसी विशेष उपकरण के आसानी से की जा सकती है।

VI. पुश-अप्स (लड़कों के लिए) तथा संशोधित पुश-अप्स (लड़कियों के लिए) [Push-ups (for boys) and Modified Push-ups (for girls)]

उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य परीक्षार्थी के शरीर के ऊपरी भाग की शक्ति एवं सहन क्षमता को मापना होता है| शरीर के ऊपरी भाग की मांसपेशीय शक्ति हमारे दैनिक कार्यों को बिना थके करने के लिए अत्यन्त महत्त्वपूर्ण होती है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : एक साफ समतल नरम सतह, जिम मैट तथा पेपर और पेंसिल

विधि (Proceduce)

  • परीक्षण की शुरुआत में परीक्षार्थी पेट के बल तथा मुँह नीचे की ओर करके लेट जाता है। इस दौरान उसके दोनों हाथ कंधों की अ थोड़े खुले हुए होने चाहिए तथा उसके दोनों हाथों की उँगलियाँ फैली हुई होनी चाहिए।
  • परीक्षार्थी के दोनों पैर एक-दूसरे के समतल तथा सीधे होने चाहिए। ऐसा करते समय किसी भी वस्तु का सहारा नहीं लेना चाहिए
  • फिर परीक्षार्थी को बिना रूके पहले से निर्धारित समय तक लगातार पुश-अप्स करने होते है, जब तक वह थक न जाए।
  • सही विधि के अनुरूप निर्धारित अवधि के दौरान किए गए कुल पुश-अप्स की संख्या ही परीक्षार्थी का कुल स्कोर होता है।
बेसल चयापचय दर- बी.एम.आर. (Basal Metabolic Rate – BMR)

शारीरिक गतिविधि की कमी और खराब भोजन हमारे जीवन का एक अभिन्न अंग बन गए हैं। इतना ही नहीं, धूम्रपान (smoking) और अत्यधिक शराब पीने से जीवन की गुणवत्ता और खराब हो गई है। ऐसी स्थिति में यदि किसी व्यक्ति को अपनी जीवनशैली सुधारनी हो और शारीरिक भार को कम या ज्यादा करना हो तो उसे अपने दैनिक कैलोरी उपभोग (daily calorie intake) का ज्ञान होना चाहिए ताकि वह आवश्यकता के अनुरूप अपना ऊर्जा/कैलोरी व्यय बढ़ा या घटा सकें और स्वस्थ जीवन जी सकें।

ऊर्जा/कैलोरी की वह मात्रा है जो शरीर की मूलभूत क्रियाओं के लिए खर्च की जाती है, बेसल चयापचय दर कहलाती है।

जबकि,

ऊर्जा/कैलोरी की वह मात्रा है जो शरीर द्वारा आराम की अवस्था में खर्च की जाती है रेस्टिंग चयापचय वर कहलाती है।

सरल शब्दों में कहें तो – बेसल चयापचय दर, शरीर के विभिन्न तंत्रो की मूलभूत गतिविधियों को कार्यशील बनाए रखने के लिए जरुरी ऊर्जा/कैलोरी की मात्रा है। मानव शरीर में मस्तिष्क, केंद्रीय तंत्रिका तंत्र, हृदय, गुर्दे, यकृत, फेफड़े, मांसपेशीय तंत्र इत्यादि मनुष्य के निष्क्रय रहने के दौरान या सोते समय भी क्रियाशील रहते है। यदि शरीर की कोई भी मूलभूत क्रिया ऊर्जा के अभाव में रूक जाए, तो मनुष का जीवित रह पाना मुश्किल है। इन सभी तंत्रों को निरंतर रूप से क्रियाशील बने रहने के लिए जितनी ऊर्जा की आवश्यकता होती है ही बेसल चयापचय दर की संज्ञा दी जाती है।

चयापचय हमारे शरीर में होने वाली एक ऐसी प्रकिया (process) है, जिसके द्वारा भोजन ऊर्जा, एंजाइम तथा वसा में परिवर्तित होता है। चयापचय मानव शरीर में निरंतर चलने वाली प्रक्रिया है जिससे शरीर को ऊर्जा मिलती है। सरल शब्दों में कहें तो चयापचय प्रक्रिया हमारे शरीर ही ऊर्जा प्रदाता (energy provider) है और कोशिकाओं के बनने में मदद करती हैं

  • बेसल मेटाबोलिक दर शरीर के चयापचय को मापता है।
  • चयापचय की दर शारीरिक गतिविधियों की दर पर निर्भर करती है अर्थात् शारीरिक गतिविधियाँ जितनी अधिक होगी चयापचय दर उतनी ही अधिक होंगी।
  • मोटे लोगों की चयापचय दर अधिक होती है क्योंकि अतिरिक्त वसा को समायोजित करने के लिए शरीर के विभिन्न तंत्रों को अतिरिक्त कार्य करना पड़ता है।
  • अधिक शारीरिक गतिविधियाँ चयापचय दर को बढ़ाने का सबसे बेहतर विकल्प माना जाता है क्योंकि अधिक शारीरिक गतिविधियाँ करने से अतिरिक्त कैलोरी खर्च होती है।
  • उचित आहार भी बी. एम. आर. को बढ़ाता है।
  • अधिक बी.एम.आर. शारीरिक वजन को कम करने तथा स्वस्थ भार बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

बी.एम.आर. की गणना (Calculator of BMR)
बी.एम.आर. की गणना निम्नलिखित सूत्र के आधार पर की जाती है-

1. पुरुष : BMR = 88.362 + (13.397 × वजन किलोग्राम में) + (4.799 x लंबाई सेमी. में)- (5.677 × आयु)
2. महिला : BMR = 447.593 + (9.247 x वजन किलोग्राम में ) + (3.098 × लंबाई सेमी. में) – (4.330 x आयु)

बी. एम. आर. को प्रभावित करने वाले कारक

किसी व्यक्ति का बी.एम. आर. निम्न कारकों पर निर्भर करता है-

1. ऊंचाई (Height)
2. वजन (Weight)
3. fein (Gender)
4. आयु (Age)
5. जेनेटिक्स (Genetic)
6. आहार (Diet)
7. मौसम (Weather)
8. शारीरिक दशा (Physical Condition)

आमतौर पर अधिकतर लोगों की कुल ऊर्जा/कैलोरी का 70% शारीरिक गतिविधियों एवं तंत्रों के रख-रखाव पर 20 प्रतिशत ऊर्जा शारीरिक गतिविधियों पर और 10% ऊर्जा भोजन को पचाने में खर्च होती है। इसे थर्मोजेनेसिस (Thermogenesis) भी कहा जाता है।

रिकली तथा जोन्स : वरिष्ठ नागरिक पुष्टि परीक्षण(Rikli and Jones-Senior Citizen Fitness Test)

हम सब जानते हैं कि आयु बढ़ने के साथ-साथ व्यक्ति की कार्य-क्षमता में कमी आने लगती है। इसलिए वृद्धावस्था के दौरान व्यक्ति शारीरिक रूप से कमजोर होने लगता है। हालांकि हर वृद्ध की यह इच्छा होती है कि वह लंबे समय तक तदुरुस्त बना रहे तथा बिना थकान तथा के काम करता रहे। आज से कुछ वर्षों पहले तक वृद्ध व्यक्तियों की क्रियाशील पुष्टि को जांचने के लिए कोई विशेष परीक्षण नहीं थे। वर्ष 2001 में रिकली तथा जोन्स ने एक ऐसी परीक्षण विधि विकसित की जो वरिष्ठ नागरिकों के लिए अत्यंत लाभकारी सिद्ध हुई। इन परीक्षण द्वारा उन लोगों की पहचान की जा सकती है जिन्हें स्वास्थ्य अथवा पुष्टि संबंधी जोखिम होता है। चूँकि इस परीक्षण के द्वारा लोगों के स्वास्थ्य तथा पुष्टि के स्तर को और अधिक अच्छे तरीके से जाँचा जा सकता है इसलिए यह परीक्षण वरिष्ठ लोगों के लिए प्रभावी तथा सुरक्षित व्यायाम कार्यक्रमों की योजना बनाने में भी मददगार साबित होती है। वरिष्ठ नागरिक पुष्टि परीक्षण में निम्नलिखित परीक्षण सम्मिलित होते हैं-

1. चेयर स्टैंड परीक्षण (Chair Stand Test)

परीक्षण का उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य वरिष्ठ नागरिकों के शरीर के निचले भाग की शक्ति विशेषकर पैरों की शक्ति को मापना होता है, क्योंकि उन्हें अपने दैनिक कार्यों के दौरान उठने-बैठने तथा सीढ़ियाँ चढ़ने इत्यादि के लिए इस शक्ति की विशेष आवश्यकता होती है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : बिना हत्थे वाली कुर्सी, स्टॉप वॉच।

परीक्षण की विधि (Procedure)

  • इस परीक्षण के लिए सबसे पहले व्यक्ति को कुर्सी पर अपने दोनों हाथ छाती पर मोड़कर (Cross Position) रखते हुए बैठन होता है।
  • फिर आरंभ का निर्देश मिलते ही, व्यक्ति को पूरी तरह सीधा खड़ा होकर फिर से उसी अवस्था में बैठ जाना चाहिए। इस व्यायाम को 30 सैकेंड के लिए दोहराते रहना चाहिए।
  • 30 सेकेंड की अवधि के दौरान पूरे किए गए स्टैंड (उठने-बैठने) की कुल संख्या ही व्यक्ति के अंक माने जाते हैं।
पुरुषों के लिए मानक
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< 1414 से 19> 19
65 – 69< 1212 से 18> 18
70 – 74< 1212 से 17> 17
75 – 79< 1111 से 17> 17
80 – 84< 1010 से 15> 15
85 – 89< 88 से 17> 14
90 – 94< 77 से 12> 12
महिलाओं के लिए मानक
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< 1212 से 17> 17
65 – 69< 1111 से 16> 16
70 – 74< 1010 से 15> 15
75 – 79< 1010 से 15> 15
80 – 84< 99 से 14> 14
85 – 89< 88 से 13> 13
90 – 94< 44 से 11> 11

2. बाजू मोड़ने का परीक्षण (Arm Curl Test)

परीक्षण का उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य वरिष्ठ नागरिकों के शरीर के ऊपरी भाग की शक्ति तथा सहनक्षमता का मूल्यांकन करना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : बिना हत्थे वाली कुर्सी, डम्बल (पुरुषों के लिए 8 पौड/3.6 किलोग्राम तथा महिलाओं के लिए 5 पौंड/2.3 किलोग्राम) तथा स्टॉप वॉच

परीक्षण की विधि (Procedure) – इस परीक्षण के लिए व्यक्ति को हाथ में एक डम्बल (पुरुषों के लिए 8 पौड तथा महिलाओं के लिए 5 पौंड) को लेकर कुर्सी पर इस प्रकार बैठना होता है कि डम्बल वाली बाजू लंबवत्त रूप से नीचे की ओर होनी चाहिए।

  • व्यक्ति को आरंभ का निर्देश मिलते ही डम्बल वाली बाजू को कोहनी से मोड़ते हुए ऊपर छाती की ओर लाना होता है और फिर आरंभिक स्थिति में आना होता है।
  • इस क्रिया को 30 सैकेंड तक लगातार दोहराया जाता 30 सैकेंड में व्यायाम दोहराने की कुल संख्या को व्यक्ति का स्कोर माना है।
पुरुषों के लिए मानक
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< 1616 से 22> 22
65 – 69< 1515 से 21> 21
70 – 74< 1414 से 21> 21
75 – 79< 1313 से 19> 19
80 – 84< 1313 से 19> 19
85 – 89< 1111 से 17> 17
90 – 94< 1010 से 14> 14
महिलाओं के लिए मानक
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< 1313 से 19> 19
65 – 69< 1212 से 18> 18
70 – 74< 1212 से 17> 17
75 – 79< 1111 से 17> 17
80 – 84< 1010 से 16> 16
85 – 89< 1010 से 15> 15
90 – 94< 88 से 13> 13

3. चेयर सिट एंड रीच परीक्षण (Chair Sit and Reach Test)

परीक्षण का उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य वरिष्ठ नागरिकों के शरीर के निचले भाग की लचक का मूल्यांकन करना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : बिना हत्थे वाली कुर्सी तथा 18 इंच का स्केल।

परीक्षण की विधि (Procedure)

  • परीक्षण के लिए परीक्षार्थी एक कुर्सी के किनारे पर बैठकर एक पैर फर्श पर समतल तथा दूसरा पैर का घुटना सीधा करके आगे की ओर इस प्रकार रखता है कि रखना 90 पर मुड़ा हुआ हो।
  • परीक्षार्थी अपनी दोनों हाथों की बीच वाली उँगली को बराबर रखते हुए तथा साँस छोड़ते हुए पैर के पंजों के अग्र भाग को छूने का प्रयास करता है। उसे जहाँ तक संभव हो सके झुककर उसी स्थिति में दो सेकंड तक बने रहना होता हैं।
  • इसी स्थिति में परीक्षक द्वारा उँगली तथा पंजों के बीच की दूरी को मापा जाता है।
    यदि उँगलियों के सिरे, पैर के पंजे को छूते हैं तो स्कोर शून्य होता है। यदि वे एक-दूसरे को नहीं छूते के सिरे के बीच की दूरी ऋणात्मक स्कोर के रूप में धनात्मक स्कोर के रूप में माप ली जाती हैं। माप ली जाती है और यदि उँगली पंजे को छूकर आगे निकल जाती है तो दुरी धानत्मक स्कोर के रूप में माप ली जाती है।
  • परीक्षार्थी को झटके के साथ झुकना नहीं चाहिए।
पुरुषों के लिए मानक (इंच में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< -2.5-2.5 से 4.0> 4.0
65 – 69< -3.0-3.0 से 3.0> 3.0
70 – 74< -3.5-3.5 से 2.5> 2.5
75 – 79< -4.0-4.0 से 2.0> 2.0
80 – 84< -5.5-5.5 से 1.5> 1.5
85 – 89< -5.5-5.5 से 0.5> 0.5
90 – 94< -6.5-6.5 से 0.5> 0.5
महिलाओं के लिए मानक (इंच में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< -0.5-5.0 से 5.0> 5.0
65 – 69< -0.5-5.0 से 4.5> 4.5
70 – 74< -1.0-1.0 से 4.0> 4.0
75 – 79< -1.5-1.5 से 3.5> 3.5
80 – 84< -2.0-2.5 से 3.0> 3.0
85 – 89< -2.5-2.5 से 2.5> 2.5
90 – 94< -4.5-4.5 से 1.0> 1.0

4. बैक स्क्रैच परीक्षण (Back Scratch Test)

परीक्षण का उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य वरिष्ठ नागरिकों के कंधों की लचक का मूल्यांकन करना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : 18 इंच का स्केल ।

परीक्षण की विधि (Procedure)

  • इस परीक्षण के लिए परीक्षार्थी खड़ा होकर अपना कंधा उठाते हुए एक हाथ सिर के पीछे से जहाँ तक हो सके पीठ के बीच तक ले जाने का प्रयास करता है।
  • फिर वह अपने दूसरे हाथ की कोहनी को पीठ के पीछे की तरफ मोड़ते हुए दूसरे हाथ की हथेली को ऊपर की ओर करते हुए पहले हाथ की उँगलियों को छूने का प्रयास करता है।
  • यदि दोनों हाथों की उँगलियाँ एक-दूसरे को छूती हैं तो स्कोर शून्य होगा, यदि वे एक-दूसरे को नहीं छू पातीं तो दोनों हाथों की उँगलियों के सिरे के बीच की दूरी (से.मी. में) ऋणात्मक स्कोर के रूप में माप ली जाती हैं, और यदि दोनों हाथों की उँगलियाँ एक-दूसरे को छूते हुए पार कर जाती हैं तो दूरी धनात्मक स्कोर के रूप में माप ली जाती हैं।
पुरुषों के लिए मानक (इंच में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64> 6.56.5 से 0< 0
65 – 69> 7.57.5 से -1.0< -1.0
70 – 74> 8.08.0 से -1.5< -1.0
75 – 79> 9.09.0 से -2.0< -2.0
80 – 84> 9.59.5 से -2.0< -2.0
85 – 89> 10.010.0 से 3.0< -3.5
90 – 94> 10.510.5 से 4.0< -4.0
महिलाओं के लिए मानक (इंच में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64>3.0 से 1.0< 1.5
65 – 69>3.5 से 1.5< 1.5
70 – 74>4.0 से 1.0< 1.0
75 – 79>5.0 से 0.5< 0.5
80 – 84>5.5 से 0< 0
85 – 89>7.0 से -1.0< -1.0
90 – 94>8.0 से -1.0< -1.0

5. आठ फुट अप एंड गो परीक्षण (Eight Foot Up and Go Test)

परीक्षण का उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य वरिष्ठ नागरिकों की चलते समय गति, संतुलन तथा फुर्ती का मूल्यांकन होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : बिना हत्थे की कुर्सी तथा स्टॉप वॉच।

परीक्षण की विधि (Procedure)

  • इस परीक्षण के लिए कुर्सी से आठ फुट की दूरी पर एक चिह्न लगा दिया जाता है और परीक्षार्थी को कुर्सी पर सामान्य अवस्था में के के लिए कहा जाता है।
  • फिर निर्देश मिलते ही उसे उठकर तेजी से चलते हुए आठ फुट दूर लगे चिह्न से घूमकर वापस आकर कुर्सी पर बैठना होता है।
  • कुर्सी से उठकर वापस कुर्सी पर बैठने तक के समय को (सेकंड में) नोट कर लिया जाता है। इस परीक्षण के लिए परीक्षार्थी को दो अन दिए जाते हैं तथा सबसे कम समय को उसका स्कोर माना जाता है।
  • विभिन्न आयु वर्ग तथा लिंग के लिए इस परीक्षण के मानक (Norms) निम्न हैं-
पुरुषों के लिए मानक (सेकेंड में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64> 5.65.6 से 37.8< 3.8
65 – 69> 5.75.7 से 4.3< 4.3
70 – 74> 6.06.0 से 4.2< 4.2
75 – 79> 7.27.2 से 4.6< 4.6
80 – 84> 7.67.6 से 5.2< 5.2
85 – 89> 8.98.9 से 5.3< 5.3
90 – 94> 10.010.0 से 6.2< 6.2
महिलाओं के लिए मानक (सेकेंड में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64> 6.05.6 से 4.4< 4.4
65 – 69> 6.46.4 से 4.8< 4.8
70 – 74> 7.17.1 से 4.9< 4.9
75 – 79> 7.47.4 से 5.2< 5.2
80 – 84> 8.78.7 से 5.7< 5.7
85 – 89> 9.69.6 से 6.2< 6.2
90 – 94> 11.511.5 से 7.3< 7.3

6. छ: मिनट पैदल चाल परीक्षण (Six Minute Walk Test) परीक्षण का उद्देश्य (Aim) : इस परीक्षण का मुख्य उद्देश्य वरिष्ठ नागरिकों की कार्यात्मक पुष्टि (Functional Fitness) का मूल्यांकन करना होता है।

आवश्यक सामग्री एवं उपकरण (Equipments Required) : 50 गज या उससे अधिक का साफ तथा समतल आयातकार क्षेत्र जिसमें हर पाँच गज की दूरी पर लाइन खींची हो तथा एक स्टॉप वॉच।

परीक्षण की विधि (Procedure)

  • इस परीक्षण के लिए परीक्षार्थी को आदेश मिलते ही पहले से चिह्नित पथ पर 6 मिनट तक लगातार चलना होता है।
  • इस 6 मिनट की अवधि के दौरान उसे अधिक-से-अधिक दूरी तय करनी होती है।
  • 6 मिनट की अवधि के बाद परीक्षार्थी द्वारा तय की गई कुल दूरी को नोट कर लिया जाता है।
  • विभिन्न आयु वर्ग तथा लिंग के लिए इस परीक्षण के मानक (Norms) निम्न हैं-
पुरुषों के लिए मानक (गज में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64< -610610 से 735> 735
65 – 69< -560560 से 700> 700
70 – 74< -545545 से 680> 680
75 – 79< -470470 से 640> 640
80 – 84< -445445 से 605> 605
85 – 89< -380380 से 570> 570
90 – 94< -305305 से 500> 500
महिलाओं के लिए मानक (गज में)
आयुऔसत में कमऔसतऔसत में ऊपर
60 – 64 < -545545 से 600> 660
65 – 69 < -500500 से 635> 635
70 – 74 > -480480 से 615> 615
75 – 79 > -430430 से 585> 585
80 – 84 > -385385 से 540> 540
85 – 89 > -340340 से 510> 510
90 – 94 > -275275 से 440> 440