किस प्रकार का युवावर्ग अपनी पहचान के सन्दर्भ में अत्यधिक संवेदनशील हो जाता है?

किस प्रकार का युवावर्ग अपनी पहचान के सन्दर्भ में अत्यधिक संवेदनशील हो जाता है?

उत्तर –

किशोरों में अपनी अलग पहचान बनाने की इच्छा तनाव को और बढ़ा देती है। उन्हें जीवन में क्या बनना है? अपना लक्ष्य हासिल करने के लिए उनमें आवश्यक क्षमता व गुण है या नहीं? इस तरह के प्रश्न उन्हें परेशान करते रहते हैं। इसी कारण वह अक्सर भविष्य को लेकर चिंतित और तनावग्रस्त रहते हैं। उपरोक्त सभी मुद्दों के विषय में सही जानकारी तथा उचित मार्गदर्शन न मिलने के कारण किशोर तनावग्रस्त रहने लगते है जिसके कारण वह और अधिक संवेदनशील हो जाते है। ‘युवाओं’ के विभिन्न वर्गों में कुछ ऐसे समूह हैं जो विशेषरूप से संवेदनशील माने जाते हैं,

जैसे कि-

  • ग्रामीण और जनजातीय युवा
  • विद्यालय छोड़ चुके युवा
  • किशोरियाँ
  • किसी भी प्रकार की अपंगता से ग्रस्त युवा तथा
  • गलत या अवैध धंधों में सलिप्त
  • अनाथ
  • घर से भागे हुए तथा सड़कों के आवारा बच्चे

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