NCERT Solutions Class 10th Math Chapter – 4 द्विघात समीकरण (Quadratic Equation) Examples in Hindi

NCERT Solutions Class 10th Math Chapter – 4 द्विघात समीकरण (Quadratic Equation)

TextbookNCERT
Class10th
Subject(गणित) Mathematics
Chapter4th
Chapter Nameद्विघात समीकरण (Quadratic Equation)
MathematicsClass 10th गणित
MediumHindi
SourceLast Doubt

NCERT Solutions Class 10th Math Chapter – 4 द्विघात समीकरण (Quadratic Equation) Examples in Hindi द्विघात समीकरण का मूल सूत्र क्या है?, द्विघात समीकरण क्या है उदाहरण सहित?, द्विघात समीकरण कैसे बनता है?, द्विघात समीकरण का विविक्तकर क्या होगा?, द्विघात सूत्र की स्थापना किसने की थी?, द्विघात समीकरण का जनक कौन है?, द्विघात सूत्र का दूसरा नाम क्या है?, गणित के पिता का नाम क्या है?, द्विघात सूत्र का क्या मतलब है?, द्विघात समीकरण को हल करने की कौन सी विधियाँ हैं?, गणित के भगवान कौन हैं?, गणित में कुल कितने सूत्र होते हैं?

NCERT Solutions Class 10th Math Chapter – 4 द्विघात समीकरण (Quadratic Equation)

Chapter – 4

वास्तविक संख्याएँ

Examples

उदाहरण 1 : निम्न स्थितियों को गणितीय रूप में व्यक्त कीजिए :

(i) जॉन और जीवंती दोनों के पास कुल मिलाकर 45 कंचे हैं। दोनों पाँच-पाँच कंचे खो देते हैं और अब उनके पास कंचों की संख्या का गुणनफल 124 है। हम जानना चाहेंगे कि आरंभ में उनके पास कितने-कितने कंचे थे।

(ii) एक कुटीर उद्योग एक दिन में कुछ खिलौने निर्मित करता है । प्रत्येक खिलौने का मूल्य (₹ में) 55 में से एक दिन में निर्माण किए गए खिलौने की संख्या को घटाने से प्राप्त संख्या के बराबर है। किसी एक दिन, कुल निर्माण लागत ₹ 750 थी। हम उस दिन निर्माण किए गए खिलौनों की संख्या ज्ञात करना चाहेंगे ।

हल :
(i) माना कि जॉन के कंचों की संख्या x थी।
तब जीवंती के कंचों की संख्या = 45 x (क्यों?)
जीवंती के पास, 5 कंचे खोने के बाद, बचे कंचों की संख्या = 45 – x -5
= 40 – x

अतः उनका गुणनफल = (x – 5 ) (40 – x)
= 40x – x2 – 200 + 5x
= – x2 + 45x – 200

अब – x2 + 45x – 200 = 124
अर्थात् – x2 + 45x – 324 = 0
अर्थात् x2 – 45x + 324 = 0

अतः जॉन के पास जितने कंचे थे, जो समीक
x2 – 45x + 324 = 0
को संतुष्ट करते हैं।

(ii) माना उस दिन निर्मित खिलौनों की संख्या x है।
इसलिए, उस दिन प्रत्येक खिलौने की निर्माण लागत ( रुपयों में) = 55 – x
अतः, उस दिन कुल निर्माण लागत (रुपयों में) = x (55 – x)

इसलिए = x (55 – x) = 750
अर्थात् = 55x – x2 = 750
अर्थात् = – x2 + 55x – 750 = 0
अर्थात् = x2 – 55x + 750 = 0

अतः उस दिन निर्माण किए गए खिलौनों की संख्या द्विघात समीकरण
x2 – 55x + 750 = 0
को संतुष्ट करती है।

उदाहरण 2: जाँच कीजिए कि निम्न द्विघात समीकरण हैं या नहीं :
(i) (x – 2 )2 + 1 = 2x – 3
(ii) x (2x + 3) = x +1
(iii) x(x + 1) + 8 = (x + 2) (x – 2)
(iv) (x + 2 ) 3 = x – 4

हल :
(i) बायाँ पक्ष = (x – 2)2 + 1 = x – 4x + 4 + 1 = x2 – 4x + 5

इसलिए = (x – 2)2 + 1 = 2x – 3 को
x2 – 4x + 5 = 2x – 3 लिखा जा सकता है।

अर्थात् = x2 – 6x + 8 = 0
यह ax2 + bx + c = 0 के प्रकार का है।

अतः दिया गया समीकरण एक द्विघात समीकरण है।

(ii) चूँकि x(x + 1) + 8 =x + x + 8 और (x + 2) (x – 2) = x2 – 4 है,

इसलिए = x + x + 8 = x – 4
अर्थात् = x + 12 = 0

यह ax2 + bx + c = 0 के प्रकार का समीकरण नहीं है। इसलिए, दिया हुआ
समीकरण एक द्विघात समीकरण नहीं है।

(iii) यहाँ = बायाँ पक्ष = x (2x + 3 ) = 2x2 + 3x

अतः = x (2x + 3) = x + 1 को लिखा जा सकता है:
2x2 + 3x = x + 1

इसलिए = x2 + 3x – 1 = 0 हमें प्राप्त होता है।
यह ax2 + bx + c = 0 के प्रकार का समीकरण है।

अतः दिया गया समीकरण एक द्विघात समीकरण है।

(iv) यहाँ = बायाँ पक्ष = (x + 2)3 = x3 + 6x2 + 12x + 8

अतः = (x + 2 ) 3 = x 3 – 4 को लिखा जा सकता है:
x3 + 6x2 + 12x + 8 = x – 4
6x2 + 12x + 12 = 0 या x + 2x + 2 = 0

अर्थात् = यह ax2 + bx + c = 0 के प्रकार का समीकरण है।
अतः दिया गया समीकरण एक द्विघात समीकरण है।

उदाहरण 3 : गुणनखंडन द्वारा समीकरण 22 – 5x + 3 = 0 के मूल ज्ञात कीजिए ।

हल : सर्वप्रथम, हम मध्य पद – 5x को – 2x – 3x [क्योंकि ( – 2x) × (−3x) = 6x2 = (2x2) × 3] के रूप में विभक्त करते हैं।

अत:, 2x2 – 5x + 3 = 2x2 – 2x – 3x + 3 = 2x (x – 1 ) – 3 (x – 1) = (2x – 3) (x – 1)

इसलिए, 2x2 – 5x + 3 = 0 को (2x – 3) (x – 1) = 0 के रूप में पुनः लिखा जा सकता है।

अतः, x के वे मान जिनके लिए 2x2 – 5x + 3 = 0 वही है, जो (2x -: – 1) = 0 से प्राप्त है,

अर्थात् 2x – 3 = 0 या x – 1 = 0 से प्राप्त होंगे।

अब, 2x – 3 = 0, x =3/2 = देता है और x – 1 = 0, x = 1 देता

अन्तः, x=3/2 और x = 1 दिए हुए समीकरण के हल हैं।

दूसरे शब्दों में, 1 और समीकरण 2x2 – 5x + 3 = 0 के मूल हैं।

उदाहरण 4 : द्विघात समीकरण 6x2 x – 2 = 0 के मूल ज्ञात कीजिए।

हल: हमें प्राप्त है:

6x2 – x – 2 = 6x2 + 3x – 4x – 2
= 3x (2x + 1) – 2 (2x + 1 )
= (3x – 2) (2x + 1)

6x2 – x – 2 = 0 के मूल x के वे मान हैं, जिनके लिए (3x – 2) (2x + 1) = 0 हो।

इसलिए = 3x – 2 = 0 या 2x + 1 = 0

अर्थात् = x = 2/3 या x = -1/2

अत : 6x2 – x – 2 = 0 के मूल 2/3 और -1/2 हैं।

हम मूलों के सत्यापन के लिए यह जाँच करते हैं कि 2/3 और -1/2 समीकरण 6x 2 – x – 2 = 0 को संतुष्ट करते हैं या नहीं।

उदाहरण 5 : द्विघात समीकरण 3x2 – 2√6x + 2 = 0 के मूल ज्ञात कीजिए ।

हल : 3x2 – 2√6x + 2 = 3x 2 – √6x – √6x + 2
= √3x (√3x – √2) – √2 (√3x – √2)
= (√3 x – √2)(√3x -√2)

अतः समीकरण के मूल x के वे मान हैं, जिनके लिए
(√3x – √2) (√3 x – √2) = 0

अब x = √2/3 के लिए, √3x – √2 = 0 है।

अतः यह मूल, गुणनखंड √3x – √2 के दो बार आने के कारण, दो बार आता है, अर्थात् इस मूल की पुनरावृत्ति होती है।

इसलिए 3x2 -2√6x+2=0 के मूल हैं।

उदाहरण 6 : अनुच्छेद 4.1 में दिए गए प्रार्थना कक्ष की विमाएँ ज्ञात कीजिए।

हल : अनुच्छेद 4.1 में हमने ज्ञात किया था कि यदि कक्ष की चौड़ाई x m हो, तो x समीकरण 2x2 + x – 300 = 0 को संतुष्ट करता है । गुणनखंडन विधि का प्रयोग कर हम इस समीकरण को निम्न प्रकार से लिखते हैं :

2x2 – 24x + 25x – 300 = 0

या = 2.x (x – 12) + 25 (x – 12) = 0

अर्थात् = (x – 12 ) (2x + 25) = 0

अतः, दिए गए समीकरण के मूल x = 12 या x = -12.5 हैं। क्योंकि x कक्ष की चौड़ाई है, यह ऋणात्मक नहीं हो सकती।

इसलिए, कक्ष की चौड़ाई 12 m है। इसकी लंबाई = 2x + 1 = 25 m होगी।

उदाहरण 7 : द्विघात समीकरण 2x2 – 4x + 3 = 0 का विविक्तकर ज्ञात कीजिए और फिर मूलों की प्रकृति ज्ञात कीजिए ।

हल : दिया गया समीकरण ax2 + bx + c = 0 के प्रकार का है, जहाँ a = 2, b = – 4 और c = 3 है। इसलिए, विविक्तकार

b2 – 4ac = (– 4)2 – (4 × 2 × 3) = 16 – 24 = – 8 < 0 है।

अतः, दिए गए समीकरण के कोई वास्तविक मूल नहीं हैं।

उदाहरण 8 : 13 मीटर व्यास वाले एक वृत्ताकार पार्क की परिसीमा के एक बिंदु पर एक खंभा इस प्रकार गाड़ना है कि इस पार्क के एक व्यास के दोनों अंत बिंदुओं पर बने फाटकों A और B से खंभे की दूरियों का अंतर 7 मीटर हो । क्या ऐसा करना संभव है? यदि है, तो दोनों फाटकों से कितनी दूरियों पर खंभा गाड़ना है ?

हल : आइए सर्वप्रथम एक चित्र बनाएँ (देखिए आकृति 4.2) । माना खंभे की अभीष्ट स्थिति P है। माना खंभे की फाटक B से दूरी .x m है अर्थात् BP =xm है। अब खंभे की दोनों फाटकों की दूरियों का अंतर = AP – BP (या BP – AP) = 7m है । इसलिए, AP = (x + 7 ) m होगा।

साथ ही,AB = 13m है। चूँकि AB व्यास है, इसलिए

<APB = 90° (क्यों?)

इसलिए = AP2 + PB2 = AB± (पाइथागोरस प्रमेय द्वारा)

अर्थात् = (x + 7)2 + x 2 = 132

अर्थात् = x2 + 14x + 49 + x = 169

अर्थात् = 2x + 14x – 120 = 0

अतः खंभे की फाटक B से दूरी ‘x’ समीकरण x + 7x – 60 = 0 को संतुष्ट करती है। यह देखने के लिए कि ऐसा संभव है अथवा नहीं, आइए इसके विविक्तकर पर विचार करें। विविक्तकर है:

b2 – 4ac = 72 – 4 x 1 x ( 60 ) = 289 > 0

अतः, दिए गए द्विघात समीकरण के दो वास्तविक मूल हैं और इसीलिए खंभे को पार्क की परिसीमा पर गाड़ा जा सकना संभव है।

द्विघात समीकरण 7x – 60 = 0 को द्विघाती सूत्र से हल करने पर, हम पाते हैं:

इसलिए, x = 5 या – 12 है।

चूँकि .x खंभे और फाटक B के बीच की दूरी है, यह धनात्मक होना चाहिए। इसलिए, 12 को छोड़ देते हैं। अत:, x = 5 है। इस प्रकार, खंभे को पार्क की परिसीमा पर फाटक B से 5m और फाटक A से √132 – 52 = 12m की दूरी पर गाड़ना है।

उदाहरण 9 : समीकरण 3x2 – 2x + = 0 का विविक्तकर ज्ञात कीजिए और फिर मूलों की प्रकृति ज्ञात कीजिए। यदि वे वास्तविक है, तो उन्हें ज्ञात कीजिए।

हल : यहाँ a = 3, b = -2, c = 1/3 हैं।

इसलिए विविक्तकर b2 – 4ac = (2)2 – 4 × 3 × = 4 – 4 = 0 है।

अतः द्विघात समीकरण के दो बराबर वास्तविक मूल हैं।

ये मूल -b/2a, -b/2a अर्थात् 2/6, 2/6 अर्थात् 1/3, 1/3 हैं।

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