Class 10th English (First Flight) Chapter – 9 Madam Rides the Bus
Textbook | NCERT |
Class | 10th |
Subject | English |
Chapter | 9th |
Chapter Name | Madam Rides the Bus |
Category | Class 10th English Explanation in Hindi |
Medium | English |
Source | Last Doubt |
Class 10th English (First Flight) Chapter – 9 Madam Rides the Bus
Chapter – 9
Madam Rides the Bus
Explanation in Hindi
Before You Read In this sensitive story, an eight-year old girl’s first bus journey into the world outside her village is also her induction into the mystery of life and death. She sees the gap between our knowing that there is death, and our understanding of it. इस संवेदनशील कहानी में एक आठ साल की लड़की की अपने गांव से बाहर के संसार की पहली बस यात्रा है जो मृत्यु और जीवन के रहस्य का भी परिचय कराती है। यह मृत्यु के बारे में जानने और उसके समझने में अंतर भी देखती है। |
There was a girl named Valliammai who was called Valli for short. She was eight years old and very curious about things. Her favourite pastime was standing in the front doorway of her house, watching what was happening in the street outside. There were no playmates of her own age on her street, and this was about all she had to do. वालियाम्माय एक लड़की थी जिसे संक्षेप में वल्ली कहते थे। वह आठ वर्ष की थी और चीजों के बारे में बड़ी But for Valli, standing at the front door was every bit as enjoyable as any of the elaborate games other children played. Watching the street gave her many new unusual experiences. किंतु वल्ली के लिए, सामने वाले दरवाजे में खड़ा होना ठीक वैसे ही आनंददायक था जैसे कि कोई भी सुव्यवस्थित खेल था जिसे दूसरे बच्चे खेलते थे। गली को देखना उसे अनेक बहुत से नये असामान्य अनुभव प्रदान करता था। |
The most fascinating thing of all was the bus that travelled between her village and the nearest town. It passed through her street each hour, once going to the town and once coming back. The sight of the bus, filled each time with a new set of passengers, was a source of unending joy for Valli. सबसे अधिक आकर्षक चीज वह बस थी जो उसके गाँव तथा सबसे निकट शहर के बीच चलती थी। वह हर घंटे उसकी गली से होकर गुजरती थी, एक बार शहर जाते हुए और एक बार वापस आते हुए। बस का दृश्य जो हर बार यात्रियों के नए समूह से भरा होता था, वल्ली के लिए अनंत प्रसन्नता का स्रोत था। Day after day she watched the bus, and gradually a tiny wish crept into her head and grew there: she wanted to ride on that bus, even just once. This wish became stronger and stronger, until it was an overwhelming desire. Valli would stare wistfully at the people who got on or off the bus when it stopped at the street corner. Their faces would kindle in her longings, dreams, and hopes. If one of her friends happened to ride the bus and tried to describe the sights of the town to her, Valli would be too jealous to listen and would shout, in English: “Proud! proud!” Neither she nor her friends really understood the meaning of the word, but they used it often as a slang expression of disapproval. दिन-प्रतिदिन वह बस को देखती थी, और धीरे-धीरे एक छोटी-सी कामना ने उसके मस्तिष्क में प्रवेश किया तथा बढ़ती गई, वह उस बस पर सवारी करना चाहती थी, चाहे मात्र एक बार। यह कामना धीरे-धीरे एक तीव्र इच्छा बन गई। वल्ली उन लोगों को निराशा से निहारती थी जो बस पर उस समय चढ़ते या उतरते थे जब वह गली के किनारे पर ठहरती थी। उनके चेहरे उसकी इच्छाओं, स्वप्नों और आशाओं से दीप्त हो उठते थे। यदि उसकी सखियों में से कोई बस की सवारी करता और नगर के दृश्य का उसे वर्णन करने का प्रयत्न करता था, तो वल्ली इतनी ईर्ष्यालु हो उठती थी कि उसे सुनना नहीं चाहती थी और अंग्रेजी में चिल्ला उठती थी, “अभिमानी! अभिमानी!” न तो वह और न ही उसकी सखियाँ इस शब्द के अर्थ को जानती थीं, किंतु वे इसका प्रयोग प्रायः असहमति के गंवारू अभिव्यक्ति करने में करती थीं। |
Over many days and months Valli listened carefully to conversations between her neighbours and people who regularly used the bus, and she also asked a few discreet questions here and there. This way she picked up various small details about the bus journey. The town was six miles from her village. The fare was thirty paise one way “which is almost nothing at all” she heard one well-dressed man say, but to Valli, who scarcely saw that much money from one month to the next, it seemed a fortune. The trip to the town took forty-five minutes. On reaching town, if she stayed in her seat and paid another thirty paise, she could return home on the same bus. This meant that she could take the one-o’clock afternoon bus, reach the town at one forty-five, and be back home by about two forty-five… On and on went her thoughts as she calculated and recalculated, planned and replanned….. बहुत दिनों तथा महीनों तक वल्ली अपने उन पड़ोसियों तथा लोगों के बीच वार्तालाप को सावधानी से सुनत रही जो नियमित रूप से बस का प्रयोग करते थे, और बीच-बीच में कुछ विवेकशील प्रश्न भी पूछती थी। इस प्रकार उसने बस यात्रा के बारे में अनेक छोटी-छोटी बातों की जानकारी प्राप्त कर ली। नगर उसके गाँव से छह मील दूर था। एक तरफ का किराया 30 पैसे था-“जो लगभग कुछ भी नहीं था,” उसने एक अच्छे वस्त्र पहने व्यक्ति को कहते सुना था, किंतु वल्ली के लिए, जिसने एक महीने से अगले महीने तक बिरले ही इतने धन को देखा था, यह एक विपुल धन था। नगर की यात्रा में 45 मिनट लगते थे। नगर में पहुँचकर, यदि वह अपनी सीट पर बैठी रहे और 30 पैसे और चुका दे, तो वह उसी बस से वापस घर आ सकती थी। इसका अर्थ यह था कि वह दोपहर के बाद एक बजे की बस पकड़ सकती थी, नगर में 1 बजकर 45 मिनट पर पहुँच सकती थी, और लगभग 2 बजकर 45 मिनट तक वापस घर लौट सकती थी…. वह गणना, पुर्नगणना, योजना तथा पुर्नयोजना करते हुए विचारों में खोई रही। Well, one fine spring day the afternoon bus was just on the point of leaving the village and turning into the main highway when a small voice was heard shouting. “Stop the bus! Stop the bus!” And a tiny hand was raised commandingly. एक सुंदर बसंत ऋतु के दिन दोपहर के बाद जब बस गाँव को छोड़ने वाली थी और मुख्य महामार्ग के लिए लेने को थी उस समय एक हल्की (छोटे बालक की आवाज) चिल्लाने की आवाज आई। “बस को रोको! बस को रोको।” और नन्हा सा हाथ आदेश देता हुआ उठा। The bus slowed down to a crawl, and the conductor, sticking his head out the door, said: “Hurry then! Tell whoever it is to come quickly. बस धीमी पड़कर रेंगने लगी, और कंडक्टर ने दरवाजे से अपना सिर बाहर निकालते हुए कहा, “फिर जल्दी करो! जो भी है उसे कह दो कि वह शीघ्रता से आए।” वल्ली चिल्लाई, “यह मैं हूँ जिसे बस पर चढ़ना है।” By now the bus had come to a stop, and the conductor said “Oh, really! You don’t say so!” अब तक बस थम गई थी, और कंडक्टर ने कहा, “ओह, वास्तव में! तुम ऐसा मत कहो।” |
“Never mind,” she said, “I can get on by myself. You don’t have to help me.” उसने कहा, “बेचैन मत होइए मैं अपने आप चढ़ जाऊँगी। तुम्हें मेरी सहायता करने की आवश्यकता नहीं है।” “It was the slack time of day, and there were only six or seven passengers on the bus. They were all looking at Valli and laughing with the conductor. Valli was overcome with shyness. Avoiding everyone’s eyes, she walked quickly to an empty seat and sat down. यह दिन का मंदे का समय था, और बस में केवल छह या सात यात्री थे। वे सब वल्ली को देख रहे थे और कंडक्टर के साथ हँस रहे थे। वल्ली लज्जा से अभिभूत थी। प्रत्येक व्यक्ति की आँख से बचते हुए वह तेजी से खाली सीट की ओर चलकर बैठ गई। May we start now, madam ?” the conductor asked, smiling. Then he blew his whistle twice, and the bus moved forward with a roar. कंडक्टर ने मुस्कराते हुए पूछा, “श्रीमती जी, क्या हम अब बस को चलाएँ? फिर उसने दो बार अपनी सीटी बजाई, और बस गरज करती हुई आगे बढ़ी। |
Valli devoured everything with her eyes. But when she started to look outside, she found her view cut off by a canvas blind that covered the lower part of her window. So she stood up on the seat and peered over the blind. वल्ली ने सभी चीजों को अपनी आँखों से निहारा। किंतु जब उसने बाहर देखना आरंभ किया, तो बाहर का दृश्य कैनवास के पर्दे के कारण नजर नहीं आ रहा था जो उसकी खिड़की के निचले भाग को ढके हुए था। इसलिए वह सीट पर खड़ी हो गई और पर्दे के ऊपर से झाँका। The bus was now going along the bank of a canal. The road was very narrow. On one side there was the canal and, beyond it, palm trees, grassland, distant mountains, and the blue, blue sky. On the other side was a deep ditch and then acres and acres of green fields-green, green, green, as far as the eye could see. बस अब एक नहर के किनारे-किनारे चल रही थी। सड़क बड़ी तंग थी। एक तरफ नहर थी और उसके पार खजूर के पेड़ घासभूमि, दूरस्थ पर्वत और नीला आकाश था। दूसरी तरफ गहरी खाई थी और फिर एकड़ों भूमि पर हरे खेत थे- जहाँ तक दृष्टि जाती थी, हरे ही हरे थे। Oh, it was all so wonderful! ओह, यह सब कुछ आशर्यजनक था। Sitting down she looked to see who had spoken. It was an elderly man who had honestly been concerned for her, but she was annoyed by his attention. बैठकर वह देखने लगी कौन बोला था। यह एक वृद्ध पुरुष था जो ईमानदारी से उसके लिए चिंतित था, किंतु वह उसके ध्यान से क्षुब्ध हो गई। उसने घमंड से कहा, “यहाँ कोई ऐसा नहीं है जो बालक हो। मैंने सभी लोगों की भाँति 30 पैसे चुकाए हैं।” |
The conductor chimed in. “Oh, sir, but this is a very grown-up madam. Do you कंडक्टर ने टोका। “ओह, श्रीमानजी, पर यह एक प्रौढ़ श्रीमती हैं। क्या आप सोचते हैं कि केवल एक छोटी सी बालिका अपना किराया स्वयं चुका कर अकेली नगर की यात्रा कर सकती हैं? “Valli shot an angry glance at the conductor and said: “I am not a madam. Please remember that. And you’ve not yet given me my ticket.” वल्ली ने कंडक्टर पर क्रोध भरी दृष्टि डाली और कहा, “मैं एक श्रीमती नहीं हूँ। कृपया इस बात को याद रखिए। और तुमने अभी तक मुझे टिकट नहीं दी है।” The conductor punched a ticked and handed it to her. “Just sit back and make yourself comfortable. Why should you stand when you’ve paid for a seat?” “Because I want to,” she answered, standing up again. कंडक्टर ने टिकट में छेद किया और टिकट उसे पकड़ा दी। “आराम से बैठ जाओ। तुम क्यों खड़ी रहना चाहती हो, जब तुमने सीट के लिए भुगतान कर दिया है?” |
“But if you stand on the seat, you may fall and hurt yourself when the bus makes a sharp turn or hits a bumb. That’s why we want you to sit down, child.” “I’m not a child, I tell you,” she said irritably. “I’m eight years old.” “यदि तुम सीट पर खड़ी रहोगी तो तुम गिर सकती हो और चोट खा सकती हो जब बस तीखा मोड़ लेती है झटके से रुकती है। बच्चे, यही कारण है कि हम चाहते हैं कि तुम बैठ जाओ।”उसने चिड़चिड़ेपन से कहा “मैं एक बालक नहीं हूँ, मैं तुम्हें बता देती हूँ।” “मैं आठ वर्ष की हूँ।” “The bus stopped, some new passengers got on, and the conductor got busy for a time. Afraid of losing her seat. Valli finally sat down. बस रुकी, कुछ नए यात्री चढ़े और कंडक्टर कुछ समय के लिए व्यस्त हो गया। अपना स्थान खोने के भय से, वल्ली अंतत: बैठ गई। एक वृद्धा आई और उसके पास बैठ गई। “प्रिय, क्या तुम बिल्कुल अकेली हो?” उसने वल्ली से पूछा ज्योंही बस फिर चलने लगी। Valli found the woman absolutely repulsive-such big holes she had in her ear lobes, and such ugly earrings in them! And she could smell the betel nut the woman was chewing and see the betel juice that was threatening to spill over her lips at any moment. Ugh!-who could be sociable with such a person? वल्ली ने उस स्त्री को पूर्णतया घृणास्पद पाया – उसके कान की पिंडिकाओं में इतने बड़े छिद्र थे, और उनमें इतनी भद्दी बालियाँ थीं। और वह उन सुपारियों को सूँघ सकती थी जो वह स्त्री चबा रही थी और पान की पीक को देख सकती थी जो किसी भी क्षण उसके होठों पर बिखर सकती थी। उफ! ऐसे व्यक्ति के साथ कौन मिलनसार हो सकता था? |
“Yes, I’m travelling alone,” she answered curtly. “And I’ve got a ticket too”. उसने अशिष्टता से कहा, “हाँ, मैं अकेली यात्रा कर रही हूँ। और मेरे पास टिकट भी है। “ But the old woman went on with her drivel. “Is it proper for such a young person to किंतु बूढ़ी स्त्री अपनी बेहूदा बातें करती रही। “क्या इतने छोटे व्यक्ति के लिए उचित है कि वह अकेले यात्रा Her first journey-what careful, painstaking, elaborate plans she had had to make अपनी पहली यात्रा (के लिए) कितनी सावधानीपूर्वक, परिश्रम से, विस्तृत योजनाएँ, उसे बनानी पड़ी थीं। उसने मितव्ययता से जो भी छुट-पुट सिक्के उसके हाथ में आए, बचाए थे। पिंपरमिंट, खिलौनें, गुब्बारे और इस प्रकार की अन्य चीजों की इच्छाओं का प्रतिरोध किया। और कुल मिलाकर उसने 60 पैसे बचाए थे। यह कितना कठिन रहा होगा, विशेषकर गाँव के मेले के उस दिन, किंतु उसने दृढ़ता से झूला झूलने की प्रबल इच्छा को दबाया था, यद्यपि उसके पास धन था। After she had enough money saved, her next problem was how to slip out of the house without her mother’s knowledge. But she managed this without too much difficulty. Every day after lunch her mother would nap from about one to four or so. Valli always used these hours for her ‘excursions’ as she stood looking from the doorway of her house or sometimes even ventured out into the village; today, these same hours could be used for her first excursion outside the village. जब उसने काफी धन बचा लिया उसके बाद उसकी अगली समस्या थी कि अपनी माँ की जानकारी के बिना घर से कैसे खिसका जाए। किंतु उसने बिना अधिक कठिनाई के इसकी व्यवस्था कर ली। दोपहर के भोजन के पश्चात् प्रतिदिन उसकी माँ लगभग 1 से 4 बजे आदि तक नींद की झपकी लेती थी। वल्ली सदा इन घंटों का प्रयोग अपने मनोरंजन के भ्रमण के लिए करती थीं क्योंकि वह अपने घर के द्वार से देखने के लिए खड़ी हो जाती थी और कभी-कभी बाहर गाँव में चली जाती थी, आज इन घंटों का प्रयोग गाँव से बाहर उसके मनोरंजन के पहले भ्रमण के लिए किया जा सकता था। |
The bus rolled on now cutting across a bare landscape, now rushing through a tiny hamlet or past an odd wayside shop. Sometimes the bus seemed on the point of gobbling up another vehicle that was coming towards them or a pedestrian crossing the road. But lo! somehow it passed on smoothly, leaving all obstacles safely behind. Trees came running towards them but then stopped as the bus reached them and simply stood there helpless for a moment by the side of the road before rushing away in the other direction. बस अब शस्यहीन (वीरान) भू-दृश्य को चीरती हुई बढ़ रही थी, अब छोटे से गाँव में तेजी से गुजर रही थी या मार्ग के किनारे की दुकान को पीछे छोड़ती जा रही थी। कभी-कभी बस किसी अन्य गाड़ी को जो उनकी तरफ आ रही होती थी या उस पैदल यात्री को जो सड़क पार कर रहा होता था निगलती प्रतीत होती थी। किंतु देखो! किसी न किसी प्रकार वह आराम से उनको पीछे छोड़ती जा रही थी, सभी बाधाओं को सुरक्षा से पीछे छोड़ती जा रही थी। वृक्ष भागते हुए उनकी तरफ आ रहे थे किंतु फिर वह रुक जाते थे जब बस उन तक पहुँचती थी और एक क्षण के लिए सड़क के किनारे निसहाय खड़े हो जाते थे इससे पहले कि वे दूसरी दिशा में दौड़ना शुरू करें। Suddenly Valli clapped her hands with glee. Young cow, tail high in the air, was running very fast, right in the middle of the road, right in front of the bus. The bus slowed to a crawl, and the driver sounded his horn loudly again and again. But the more he honked, the more frightened the animal became and the faster it galloped- always right in front of the bus. वल्ली अचानक प्रसन्नता से ताली बजाने लगी। एक छोटी गाय, जिसकी पूँछ हवा में ऊँची उठी हुई थी, ठीक सड़क के बीच में बहुत तेजी से दौड़ रही थी, ठीक बस के सामने। बस धीमी होकर रेंगने लगी, और चालक ने बार-बार जोर से अपना हॉर्न बजाया। किंतु जितना अधिक उसने हॉर्न का शब्द किया, पशु उतना ही अधिक डर गया और तेजी से दौड़ने लगा-सदा ठीक बस के सामने। Somehow this was very funny to Valli. She laughed and laughed until there were tears in her eyes. किसी न किसी तरह वल्ली के लिए यह बड़ा दिलचस्प था। वह उस समय तक हँसती रही जब तक उसकी आँखों से आँसू नहीं आ गए। कंडक्टर ने कहा, “अरे महिला, क्या पर्याप्त नहीं हँस चुकी हो?” “अच्छा हो, कुछ (हँसी को) कल के लिए बचा लो।” अंततः गाय सड़क से हट गई। और बस शीघ्र ही रेल रोड क्रॉसिंग पर आ गई। दूर से गाड़ी का चिह्न मात्र देखा जा सकता था, ज्यो-ज्यों वह निकट आता जा रहा था, बढ़ता जा रहा था। फिर वह गाड़ी भारी शोर तथा गरज करते हुए, बस को हिलाते हुए क्रॉसिंग गेट को पार कर गई। फिर बस चलती गई और गाड़ी के स्टेशन को पार कर गई। वहाँ से एक व्यस्त, सुव्यवस्थित शॉपिंग गली से गुजरते हुए, चौड़े सार्वजनिक मार्ग में प्रवेश कर गई। दुकानें बहुत बड़ी तथा चमकीली दिखती थीं। कपड़ों तथा अन्य बिक्री के सामान का कितना चमचमाता प्रदर्शन था। कितनी भारी भीड़ थी! Struck dumb with wonder, Valli gaped at everything. Then the bus stopped and everyone got off except Valli. आश्चर्यचकित होकर, वल्ली प्रत्येक वस्तु को ताकने लगी। फिर बस रुक गई और वल्ली के अलावा प्रत्येक व्यक्ति बस से उतर गया। कंडक्टर ने कहा, “क्या तुम उतरने को तैयार नहीं हो? यह इतनी दूर है जितना कि तुम्हारे तीस पैसे का टिकट तुम्हें पहुँचा सकता है। |
“No,” Valli said “I’m going back on this same bus.” She took another thirty paise from her pocket and handed the coins to the conductor. वल्ली ने कहा, “नहीं, मैं इसी बस से वापस जा रही हूँ।” उसने अपनी जेब से 30 पैसे निकाले और सिक्के कंडक्टर को दे दिए। “Don’t you want to have a look at the sights, now that you’re here?” अब जब तुम यहाँ हो, क्या तुम नजारा नहीं देखना चाहती ?” “No, I don’t have enough money. Just give me my ticket, that’s all.” “नहीं मेरे पास पर्याप्त धन नहीं है मुझे केवल मेरी टिकट दे दो, बस। सिर्फ इतना ही।” |
“Won’t your mother be looking for you?” the conductor asked when he gave the girl her ticket. “No, no one will be looking for me,” she said. कंडक्टर ने लड़की को टिकट दिया उससे पूछा, “क्या तुम्हारी माँ तुम्हें नहीं ढूँढ रही होगी?” Valli wasn’t bored in the slightest and greeted everything with the same excitement वल्ली तनिक भी नहीं ऊबी और प्रत्येक वस्तु का उसी उत्साह से अभिनंदन किया जैसे उसने पहली बार किया था। किंतु अचानक उसने एक छोटी गाय को सड़क के किनारे मरा पड़ा देखा, जहाँ वह तेज चलते वाहन से टकरा गई थी। “Isn’t that the same cow that ran in front of the bus on our trip to town?” she asked “उसने कंडक्टर से पूछा, “क्या वह वही गाय थी जो नगर को जाते हुए यात्रा के समय बस के आगे-आगे दौड़ी थी?” कंडर ने हाँ में सिर हिलाया, और वह दुःख से अभिभूत हो गई। कुछ समय पहले वह कितनी प्यारी, सुंदर जीव थी जिसने अब अचानक अपना आकर्षण तथा जीवन खो दिया है और कितनी भयावह दिखाई देती है, इतनी डरावनी जो वहाँ पड़ी है, जिसकी टाँगे फैली हुई हैं, उसकी निर्जीव आँखों में स्थिर टकटकी है, चारों तरफ खून ही खून है…. |
The bus moved on. The memory of the dead cow haunted her, dampening her बस चलती गई। मृत गाय की स्मृति उसके उत्साह को मंद करती हुई उसे सताने लगी। वह अब खिड़की से बाहर नहीं देखना चाहती थी। “Okay, madam,” he answered her, smiling. “Whenever you feel like a bus ride, उसने मुस्काते हुए उत्तर दिया, “ठीक, श्रीमती जी!” “जब कभी तुम्हारी बस की सवारी करने की इच्छा हो, आ जाना और हमें मिलना, और अपना किराया लाना मत भूलना। “ She laughed and jumped down from the bus. Then away she went, running straight for home. When she entered her house she found her mother awake and talking to one of Valli’s aunts, the one from South Street. This aunt was a real chatterbox, never closing her mouth once she started talking. वह हँसी और बस से नीचे कूद पड़ी। फिर वह सीधी घर के लिए दौड़ती हुई दूर चली गई। “And where have you been?” said her aunt when Valli came in. She spoke very casually, not expecting a reply. So Valli just smiled, and her mother and aunt went on with their conversation. जब वल्ली अंदर आई तो उसकी चाची ने कहा, “तुम कहाँ थी?” वह सामान्य रूप से बोली, उत्तर की आशा न करते हुए। इसलिए वल्ली मात्र हँस पड़ी, और उसकी माँ तथा चाची बातचीत करती रहीं। “हाँ, तुम ठीक कहती हो”, उसकी माँ ने कहाँ। “हमारे बीच तथा बाहर संसार में बहुत-सी बातें होती हैं। हम संभवतः हर बात को कैसे जान सकती हैं? और जब हम किसी चीज के बारे में जानती भी हैं, तो प्रायः हम इसे पूर्णतया नहीं समझ सकतीं। क्या हम समझ सकती हैं? “Oh, yes!” breathed Valli. “Just a chit of a girl,” she is,” said her aunt, “and yet look how she pokes her nose into our conversation, just as though she were a grown lady.” Valli smiled to herself. She didn’t want them to understand her smile. But then, there wasn’t much chance of that, was there? ओह, हाँ” वल्ली ने साँस ली। |
WORD – MEANINGS Fascinate : To charm, to enchant – वश में करना। |